स्पेसएक्स ने मंगलवार (14 अक्टूबर) को सुबह 5:00 बजे टेक्सास के बोका चिका से अपने अब तक के सबसे बड़े रॉकेट स्टारशिप की 11वां सफल परीक्षण उड़ान पूरी की। इस उड़ान में रॉकेट ने आठ नकली उपग्रहों को अंतरिक्ष में छोड़ते हुए दुनिया के आधे हिस्से की यात्रा की। चरण पृथक्करण के बाद उसका सुपर हैवी बूस्टर सुरक्षित रूप से मैक्सिको की खाड़ी में उतरा, जिससे यह साबित हुआ कि स्पेसएक्स अपने रॉकेट की वापसी और पुनः उपयोग की दिशा में लगातार प्रगति कर रहा है।

स्पेसएक्स के मुताबिक, यह दूसरी पीढ़ी के स्टारशिप और पहली पीढ़ी के सुपर हैवी बूस्टर की अंतिम उड़ान थी। साथ ही, यह पैड 1 के मौजूदा ढांचे से की गई आखिरी लॉन्चिंग भी थी।

स्पेसएक्स ने अपने बयान में कहा,
उड़ान परीक्षण के सभी प्रमुख लक्ष्य सफलतापूर्वक पूरे किए गए। कंपनी के अनुसार, उड़ान की शुरुआत सुपर हैवी बूस्टर के सभी 33 रैप्टर इंजनों के एक साथ प्रज्वलित होने से हुई, जिसके बाद रॉकेट खाड़ी के ऊपर चढ़ता गया।
पहले चरण के सफलतापूर्वक उड़ान भरने के बाद हॉट-स्टेजिंग तकनीक अपनाई गई, जिसमें स्टारशिप के ऊपरी हिस्से ने अपने छह रैप्टर इंजन चालू कर अंतरिक्ष की ओर उड़ान जारी रखी। चरण पृथक्करण के बाद सुपर हैवी बूस्टर ने बूस्टबैक बर्न पूरा किया और टेक्सास तट के पास तय क्षेत्र में सुरक्षित रूप से पानी में उतर गया।
कर्मचारियों ने लगाए “USA! USA!” के नारे:
जैसे ही स्टारशिप प्रोटोटाइप ने अपने परीक्षण के दौरान अंतिम नकली उपग्रह छोड़ा, तो स्पेसएक्स के कर्मचारी खुशी से झूम उठे और जोर-जोर से “USA! USA!” के नारे लगाने लगे। हालांकि, रिपोर्ट में यह नहीं बताया गया कि उन्होंने ऐसा क्यों किया।
मिशन में कितने परीक्षण हुए?
इस मिशन में कई परीक्षण किए गए। बूस्टर के लिए जरूरी जानकारी इकट्ठा की गई और रॉकेट के संवेदनशील हिस्सों की जांच के लिए कुछ टाइल्स हटा दी गई थीं। लैंडिंग बर्न के दौरान तीन सेंटर इंजनों में से एक को जानबूझकर बंद किया गया ताकि यह देखा जा सके कि बैकअप इंजन लैंडिंग पूरी कर सकता है या नहीं। इसके अलावा, अंतरिक्ष में एक रैप्टर इंजन को दोबारा चालू करने का भी सफल परीक्षण किया गया।
स्टारशिप क्या है?
स्टारशिप एक दो-चरणीय, पूरी तरह से पुन: प्रयोज्य, सुपर हेवी-लिफ्ट रॉकेट है, जिसे अमेरिकी एयरोस्पेस कंपनी स्पेसएक्स विकसित कर रही है। इसे वर्तमान में टेक्सास के स्टारबेस से बनाया और लॉन्च किया जा रहा है। यह रॉकेट फाल्कन 9 और फाल्कन हेवी का नया और बड़ा संस्करण माना जाता है और स्पेसएक्स के पुन: प्रयोज्य लॉन्च प्रणाली कार्यक्रम का हिस्सा है।
यदि इसे पूरी तरह से तैयार कर लिया गया तो स्टारशिप पहला पूरी तरह से पुन: प्रयोज्य कक्षीय रॉकेट होगा, जिसकी पेलोड क्षमता किसी भी अन्य रॉकेट से सबसे अधिक होगी। 13 अक्टूबर 2025 तक, स्टारशिप 11 बार लॉन्च हो चुकी है, जिनमें 6 सफल और 5 असफल रहे।
स्टारशिप के कार्य:
- पेलोड डिलीवरी
- मून मिशन्स
- अर्थ-टु-अर्थ ट्रांसपोर्टेशन
- इंटरप्लेनेटरी ट्रांसपोर्टेशन
10वां टेस्ट 27 अगस्त को किया गया था?
स्टारशिप का 10वां टेस्ट 27 अगस्त को सफलतापूर्वक किया गया। इसे सुबह 5 बजे टेक्सास के बोका चिका से लॉन्च किया गया और यह 1 घंटे 6 मिनट लंबा रहा। इस मिशन में स्टारलिंक सिम्युलेटर सैटेलाइट को अंतरिक्ष में छोड़ा गया और इंजन चालू करने जैसे सभी परीक्षण पूरे किए गए। इन सिम्युलेटर सैटेलाइट्स का इस्तेमाल असली स्टारलिंक सैटेलाइट्स के डमी के रूप में किया जाता है ताकि स्टारशिप की सैटेलाइट तैनाती क्षमता को परखा जा सके।
स्टारशिप, अब तक का सबसे शक्तिशाली रॉकेट:
स्टारशिप अब तक का सबसे शक्तिशाली रॉकेट है और यह स्पेसएक्स के पुराने रॉकेट फाल्कन 9 से कई गुना बड़ा है। लाइवस्ट्रीम में होस्ट ने बताया कि स्टारशिप एक बार में लगभग 60 स्टारलिंक उपग्रह लॉन्च कर सकता है। यह उन्नत V3 स्टारलिंक उपग्रहों को तैनात करके हर लॉन्च पर नेटवर्क की क्षमता 60 टेराबिट प्रति सेकंड तक बढ़ा देगा, जो फाल्कन 9 की तुलना में लगभग 20 गुना अधिक है। स्टारशिप भारी स्टारलिंक उपग्रहों को लॉन्च करने में मदद करेगा और एलन मस्क के मंगल मिशन में मनुष्यों और कार्गो को भेजने के सपने का भी केंद्रबिंदु है।
एलन मस्क की संपत्ति में भी हुआ इजाफ़ा:
ब्लूमबर्ग के बिलियनेयर्स इंडेक्स के अनुसार, एलन मस्क की संपत्ति में सोमवार को 16 अरब डॉलर की बढ़ोतरी हुई और उनकी कुल संपत्ति 453 अरब डॉलर हो गई। इस बड़ी बढ़ोतरी का कारण टेस्ला के शेयरों में एक ही दिन में 5.4% की बढ़ोतरी और स्पेसएक्स के स्टारशिप मिशन में महत्वपूर्ण सफलता को माना जा सकता है।
क्यों खास है यह लॉन्च?
यह लॉन्च इसलिए खास है क्योंकि यही रॉकेट इंसानों को दूसरे ग्रहों तक ले जाने की दिशा में बड़ा कदम है। एलन मस्क का लक्ष्य है कि 2029 तक इंसानों को मंगल पर उतारा जाए और वहां एक कॉलोनी बसाई जाए। यह स्टारशिप की 11वीं पूर्ण परीक्षण उड़ान थी, जिसे मस्क भविष्य के मंगल मिशनों में इस्तेमाल करना चाहते हैं। साथ ही, नासा को भी 2027 में चंद्रमा पर अंतरिक्ष यात्रियों को उतारने के लिए इसी तरह के 403 फुट लंबे पुन: प्रयोज्य स्टारशिप की जरूरत है।
मंगल पर कॉलोनी बसाने का कारण:
एलन मस्क का कहना है कि अगर पृथ्वी पर कोई बड़ा विनाशकारी हादसा हुआ, तो यह मानवता के अंत का कारण बन सकता है। लेकिन अगर हम मंगल ग्रह पर अपना ठिकाना बना लें, तो इंसान वहां जीवित रह सकते हैं। वह याद दिलाते हैं कि करोड़ों साल पहले डायनासोर भी एक ऐसे ही हादसे में खत्म हो गए थे। इसी तरह, वैज्ञानिक स्टीफन हॉकिंग ने भी 2017 में कहा था कि अगर इंसानों को बचाना है, तो अगले 100 साल में उन्हें दूसरे ग्रहों पर रहना शुरू करना होगा।
स्पेसएक्स इतनी जल्दी में क्यों है?
स्पेसएक्स इतनी जल्दी में इसलिए है क्योंकि उसकी दूसरी बड़ी परियोजना, स्टारलिंक, अपनी ही सफलता से भारी दबाव में है। स्टारलिंक एक हजारों उपग्रहों वाला विशाल अंतरिक्ष नेटवर्क है, जिसका उद्देश्य पृथ्वी के किसी भी हिस्से में—चाहे वह दूरदराज के पहाड़ी क्षेत्र हों या विशाल महासागर या सिग्नल न पहुंचने वाले क्षेत्र—तेज़ और स्थिर इंटरनेट सेवा देना है।
चीन के साथ अंतरिक्ष की दौड़ में स्पेसएक्स आगे: सीन डफी
नासा के कार्यवाहक प्रमुख सीन डफी के अनुसार, यह मिशन चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर अंतरिक्ष यात्रियों को उतारने की दिशा में एक बड़ा कदम है। नासा और स्पेसएक्स का लक्ष्य है कि आर्टेमिस कार्यक्रम के तहत लगभग 3 अरब अमेरिकी डॉलर के समझौते में 2027 तक इंसानों को चंद्रमा पर उतारा जाए। यह 1972 के बाद पहली बार होगा जब इंसान फिर से चंद्रमा पर कदम रखेंगे। इस प्रगति से स्पेसएक्स चीन से आगे निकल जाएगा, क्योंकि चीन का लक्ष्य 2030 तक अपने अंतरिक्ष यात्रियों को चंद्रमा पर भेजना है।
स्पेसएक्स के बारे में:
स्पेसएक्स यानी स्पेस एक्सप्लोरेशन टेक्नोलॉजीज कॉर्पोरेशन एक अमेरिकी अंतरिक्ष प्रौद्योगिकी कंपनी है, जिसका मुख्यालय टेक्सास के स्टारबेस में स्थित है। 2002 में एलन मस्क ने इसे स्थापित किया था, ताकि अंतरिक्ष प्रक्षेपण की लागत को कम किया जा सके। तब से कंपनी ने रॉकेट इंजनों, पुन: प्रयोज्य रॉकेट, मानव अंतरिक्ष उड़ान और उपग्रह तारामंडल तकनीक में कई प्रगति की है।
2025 तक, स्पेसएक्स दुनिया का प्रमुख अंतरिक्ष प्रक्षेपण प्रदाता बन चुका है और इसकी प्रक्षेपण गति निजी कंपनियों और चीन जैसे राष्ट्रीय अंतरिक्ष कार्यक्रमों से भी आगे है। स्पेसएक्स नासा और अमेरिकी सशस्त्र सेनाओं के साथ सरकारी अनुबंधों के जरिए मिलकर काम करती है।
निष्कर्ष:
स्पेसएक्स की 11वीं उड़ान ने स्टारशिप की ताकत और पुन: प्रयोज्य क्षमता साबित की। आठ नकली उपग्रहों की तैनाती और सुपर हैवी बूस्टर के सुरक्षित स्पलैशडाउन से यह दिखा कि कंपनी अंतरिक्ष यात्रा और भविष्य के मंगल-मिशनों की दिशा में तेजी से प्रगति कर रही है।