पीएम मोदी का जापान दौरा: शोरिनजान मंदिर से दारुमा गुड़िया भेंट, गार्ड ऑफ ऑनर से हुआ भव्य स्वागत

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शुक्रवार को दो दिवसीय आधिकारिक दौरे पर जापान पहुंचे हैं। यह यात्रा जापान के प्रधानमंत्री शिगेरु इशिबा के व्यक्तिगत निमंत्रण पर हो रही है और इसमें पीएम मोदी 15वें वार्षिक शिखर सम्मेलन में भाग लेंगे। इस अवसर पर प्रधानमंत्री ने अपनी यात्रा के उद्देश्य को स्पष्ट करते हुए कहा कि उनका मुख्य लक्ष्य भारत और जापान के बीच विशेष रणनीतिक साझेदारी और वैश्विक सहयोग को नए आयाम प्रदान करना है। दोनों देशों के बीच रक्षा, व्यापार, तकनीक और जलवायु क्षेत्र में मजबूत सहयोग को और आगे बढ़ाने के साथ-साथ क्षेत्रीय और वैश्विक स्थिरता सुनिश्चित करने की दिशा में भी यह यात्रा महत्वपूर्ण मानी जा रही है।

 

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का जापान में भव्य स्वागत:

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के जापान आगमन पर स्थानीय नागरिकों ने गायत्री मंत्र का पाठ किया। स्वागत समारोह में जापानी महिला कलाकार मायोनी, जो 2020 से हिंदी सीख रही हैं और जिनका हिंदी नाम मधु है, ने पधारो म्हारे देस’ गाकर मोदी का स्वागत किया। इसके अलावा, स्थानीय कलाकारों ने राजस्थानी लोकगीत और पारंपरिक भारतीय नृत्य प्रस्तुत कर प्रधानमंत्री को भव्य और रंगीन स्वागत दिया। इस आयोजन ने भारत–जापान संबंधों में संस्कृति और सौहार्द का प्रतीक प्रस्तुत किया।

 

टोक्यो में पीएम मोदी को गार्ड ऑफ ऑनर के साथ भव्य स्वागत

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को टोक्यो में प्रतिनिधिमंडल स्तर की बातचीत से पहले गार्ड ऑफ ऑनर’ के साथ सम्मानित किया गया। गार्ड ऑफ ऑनर एक औपचारिक सैन्य समारोह है, जो देश के विशिष्ट मेहमानों, जैसे विदेशी राष्ट्राध्यक्षों, प्रधानमंत्रियों या वीवीआईपी अतिथियों को सम्मान देने के लिए आयोजित किया जाता है। जापान में यह परंपरा सेल्फ-डिफेंस फोर्सेज की ओर से निभाई जाती है और इसमें सैनिक एक पंक्ति में खड़े होकर सलामी देते हैं, जिसे अतिथि निरीक्षण करते हैं। यह समारोह आमतौर पर अकासाका पैलेस (राजकीय अतिथि गृह) या प्रधानमंत्री कार्यालय में आयोजित किया जाता है और जापान की सैन्य ताकत, अनुशासन और अतिथि सम्मान को दर्शाता है।

 

मोदी को जापान के शोरिनजन दारुमा मंदिर में दारुमा गुड़िया भेंट

शोरिनजन दारुमा मंदिर के मुख्य पुजारी ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को दारुमा गुड़िया भेंट की। यह मंदिर जापान के ताकासाकी में स्थित है और 1697 में जेन बौद्ध धर्म के ओबाकू संप्रदाय द्वारा बनाया गया था। ताकासाकी को दारुमा गुड़िया का जन्मस्थान माना जाता है और कहा जाता है कि जापानी पारंपरिक गुड़ियों की उत्पत्ति इसी जगह से हुई थी। इस भेंट के माध्यम से दोनों देशों की संस्कृति और कूटनीति में आपसी सम्मान झलकता है।

PM Modi's Japan visit

पीएम मोदी के जापान दौरे के भाषण की प्रमुख बातें:

  1. रक्षा और समुद्री सुरक्षा में साझेदारी: प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि भारत और जापान एक स्वतंत्र, खुले, शांतिपूर्ण और नियम-आधारित इंडो-पैसिफिक क्षेत्र के प्रति प्रतिबद्ध हैं। दोनों देशों की चिंताएं आतंकवाद और साइबर सुरक्षा से जुड़ी हैं। रक्षा और समुद्री सुरक्षा में साझेदारी को और मजबूत किया जाएगा। डिफेंस इंडस्ट्री और इनोवेशन में सहयोग को बढ़ावा मिलेगा।
  2. सेमीकंडक्टर्स और रेयर अर्थ मिनरल्स पर जोर: पीएम मोदी ने कहा कि सेमीकंडक्टर्स और रेयर अर्थ मिनरल्स दोनों देशों के एजेंडे में शीर्ष प्राथमिकता होंगे। हाई-टेक्नोलॉजी में सहयोग को बढ़ावा दिया जाएगा। इसके तहत डिजिटल पार्टनरशिप 0 और AI कोऑपरेशन इनिशिएटिव शुरू किए जा रहे हैं। जापान की टेक्नोलॉजी और भारत के टैलेंट को संयुक्त करने का अवसर मिलेगा।
  3. इन्फ्रास्ट्रक्चर और मोबिलिटी में सहयोग: हाई-स्पीड रेल, पोर्ट्स, एविएशन और शिपबिल्डिंग जैसे क्षेत्रों में तेजी से प्रगति की जाएगी। नेक्स्ट जनरेशन मोबिलिटी पार्टनरशिप के अंतर्गत इन क्षेत्रों में सहयोग को प्राथमिकता दी जाएगी।
  4. नई रणनीतिक साझेदारी: पीएम मोदी ने कहा कि प्रधानमंत्री ईशिबा के साथ स्पेशल स्ट्रैटेजिक एंड ग्लोबल पार्टनरशिप में एक नए और सुनहरे अध्याय की नींव रखी गई है। अगले दशक के लिए रोडमैप तैयार किया गया है। इसमें इन्वेस्टमेंट, इनोवेशन, आर्थिक सुरक्षा, पर्यावरण, तकनीक, स्वास्थ्य, गतिशीलता और राज्य-प्रांत साझेदारी शामिल हैं।
  5. वैश्विक शांति और स्थिरता में महत्व: मोदी ने कहा कि भारत और जापान की साझेदारी न केवल दोनों देशों के लिए बल्कि वैश्विक शांति और स्थिरता के लिए भी महत्वपूर्ण है।
  6. जापानी निवेश: पीएम मोदी ने बताया कि जापानी कंपनियों ने भारत में 40 बिलियन डॉलर से ज्यादा का निवेश किया है। पिछले दो सालों में 13 बिलियन डॉलर का निजी निवेश हुआ है। जापान आने वाले समय में भारत में 10 ट्रिलियन येन (करीब 6 लाख करोड़ रुपये) का निवेश करेगा। MSME और स्टार्टअप को जोड़ने पर विशेष ध्यान दिया जाएगा। उन्होंने जापानी कंपनियों को कहा – भारत में बनाओ, दुनिया के लिए बनाओ।”
  7. भारत की आर्थिक स्थिति और निवेश आकर्षण: मोदी ने कहा कि भारत में राजनीतिक और आर्थिक स्थिरता है। भारत विश्व की सबसे तेज़ ग्रो करने वाली अर्थव्यवस्था है और बहुत जल्द विश्व की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनेगा। वैश्विक अर्थव्यवस्था में भारत का योगदान 18 प्रतिशत है। उन्होंने कहा कि भारत की विकास यात्रा में जापान हमेशा एक अहम पार्टनर रहा है। इसके साथ ही, भारत ने Ease of Doing Business पर जोर दिया है और बिजनेस के लिए Single Digital Window Approval की व्यवस्था भी की है।
  8. ग्रीन एनर्जी और बैटरी सप्लाई चेन: भारत-जापान की ग्रीन एनर्जी पार्टनरशिप को मजबूत किया जाएगा। इसके तहत सस्टेनेबल फ्यूल्स इनिशिएटिव और बैटरी सप्लाई चेन पार्टनरशिप शुरू की जा रही हैं।
  9. अंतरिक्ष सहयोग: पीएम मोदी ने कहा कि चंद्रयान 5 मिशन में जापान की सक्रिय भागीदारी का स्वागत करते हैं। यह अंतरिक्ष में नए अन्वेषण का आधार बनेगा।
  10. डिजिटल और AI सहयोग: हाई-टेक्नोलॉजी क्षेत्र में सहयोग के लिए डिजिटल पार्टनरशिप 0 और AI सहयोग को प्राथमिकता दी जाएगी।
  11. आर्थिक सुरक्षा और रणनीतिक क्षेत्रों में सहयोग: इकोनॉमिक सिक्योरिटी कोऑपरेशन इनिशिएटिव के तहत क्रिटिकल और स्ट्रेटेजिक क्षेत्रों में व्यापक सहयोग किया जाएगा।

 

प्रधानमंत्री मोदी का जापान दौरा भारत के लिए क्यों है खास ?

अमेरिकी टैरिफ के लागू होने के बाद, प्रधानमंत्री मोदी का यह जापान दौरा रणनीतिक और आर्थिक निवेश के लिहाज से बेहद महत्वपूर्ण है। इस दौरे में वे AI, सेमीकंडक्टर और नई तकनीक पर जापान के प्रधानमंत्री शिगेरू इशिबा के साथ चर्चा कर सकते हैं। इसके अलावा, उनके एजेंडे में मुंबई-अहमदाबाद बुलेट ट्रेन प्रोजेक्ट और अन्य इंफ्रास्ट्रक्चर परियोजनाएं भी शामिल हो सकती हैं।

यह दौरा भारत-जापान संबंधों को मजबूत करने, निवेश आकर्षित करने और हाई-टेक क्षेत्र में सहयोग बढ़ाने का एक महत्वपूर्ण अवसर माना जा रहा है।

 

भारत के लिए जापान एक मजबूत और भरोसेमंद साझेदार

  1. इंफ्रास्ट्रक्चर और हाई-स्पीड रेल: मुंबई-अहमदाबाद बुलेट ट्रेन परियोजना जापानी तकनीक और कौशल विकास का प्रतीक है। दोनों देश रेलवे, सड़क और पुल नेटवर्क में सहयोग बढ़ाने पर काम कर रहे हैं।
  2. टूरिज्म, शिक्षा और प्रवासी भारतीय: 2023-24 में पर्यटन आदान-प्रदान वर्ष मनाया गया। भारत-जापान के बीच 665+ शैक्षणिक साझेदारियां हैं। स्किल कनेक्ट प्लेटफॉर्म भारतीय प्रतिभाओं को जापानी नियोक्ताओं से जोड़ता है। जापान में लगभग 54,000 भारतीय रहते हैं।
  3. प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (FDI): जापान भारत का पांचवां सबसे बड़ा FDI स्रोत है, कुल निवेश 2 बिलियन डॉलर। जापान भारत को दीर्घकालिक निवेश के लिए भरोसेमंद गंतव्य मानता है।
  4. व्यापारिक संबंध: 2023-24 में भारत-जापान का द्विपक्षीय व्यापार 8 अरब डॉलर रहा। भारत मुख्य रूप से रसायन, वाहन, एल्युमीनियम और समुद्री खाद्य निर्यात करता है, जबकि आयात में मशीनरी, इस्पात, तांबा और रिएक्टर शामिल हैं।
  5. तकनीक और ऊर्जा सहयोग: लगभग 1,400 जापानी कंपनियां भारत में कार्यरत हैं। दोनों देश सेमीकंडक्टर, क्लीन एनर्जी, डिजिटल टेक्नोलॉजी, एआई और सप्लाई चेन लचीलापन में सहयोग कर रहे हैं। 2026 तक निवेश का लक्ष्य 5 ट्रिलियन येन है, जिसे बढ़ाने पर विचार किया जाएगा।

 

भारत के बुलेट ट्रेन प्रोजेक्ट में जापान का सहयोग

भारत मुंबई और अहमदाबाद के बीच देश का पहला हाई-स्पीड रेल कॉरिडोर बना रहा है, जिसमें जापान महत्वपूर्ण मदद कर रहा है।  2017 में जापान के तत्कालीन प्रधानमंत्री शिंजो आबे और पीएम मोदी ने इस परियोजना की शुरुआत की। इसकी कुल लागत 1.08 लाख करोड़ रुपए है।

 

जापान दौरे के बाद पीएम मोदी चीन जाएंगे

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जापान दौरे के बाद चीन जाएंगे, जहां वे शंघाई सहयोग संगठन (SCO) की बैठक में हिस्सा लेंगे। यह यात्रा भारत की क्षेत्रीय सहयोग और रणनीतिक कूटनीति को मजबूती देने में अहम भूमिका निभाएगी।

पीएम मोदी की यह यात्रा ऐसे समय में हो रही है जब अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की व्यापार और शुल्क नीतियों के कारण भारत-अमेरिका संबंधों में तनाव पैदा हो गया है। प्रधानमंत्री ने जापान और चीन के दौरे पर रवाना होने से पहले भरोसा जताया कि यह यात्रा राष्ट्रीय हितों और प्राथमिकताओं को आगे बढ़ाएगी।